इंसान

9 2 0
                                    

इंसान

बदल गया गया है
तू मेरे प्यारे इंसान
आसमां में जितने तारे नहीं है
जितने तेरे तेवर है मेरी जान ।

हर पल बदलता है तू
पहले
ना था कुछ तेरे पास
और आज भी
घमंड के अलावा कुछ नहीं है तेरे पास ।।

घमंड ना कर इतना
वरना पछतायेगा
संभल जा अब वक़्त है
वरना आईने में
खुद का चेहरा देखने से कतरायेगा ।।

धरती माँ इतना सब दे रही है
उसकी कदर कर
बदलना ही है
तो अच्छे के लिए बदल
वरना पहले ही ठीक था
उन गुफाओं में
कम से कम सब खुश और सुरक्षित थे
एक दूसरे के पनाह में ।।



      

दास्ताँ हमारीWhere stories live. Discover now